– सरकार पूरी तरह धर्मसंकट में
रणघोष अपडेट. चंडीगढ़
नगर पालिका धारूहेड़ा चेयरमैन चुनाव में मतदान के दिन शेष बचे थे कि शुक्रवार को नाटकीय मोड आ गया। पंजाब- हरियाणा हाईकोर्ट ने 8 माह पहले हुए चुनाव में चेयरमैन बने कंवर सिंह की याचिका पर सुनवाई करते हुए पहली नजर में कंवर सिंह की दसवीं की मार्क्स सीट को फर्जी मानने से इंकार करते हुए 13 सितंबर को अगली सुनवाई के आदेश जारी कर दिए हैं। कोर्ट ने 15 मार्च 2021 को हरियाणा चुनाव आयोग के आदेश को रद्द कर दिया। इसका मतलब यह नहीं है कि मार्क्स सीट वैध हो गई है। अब कोर्ट तय करेगा कि कंवर सिंह की दसवीं की मार्क्स सीट वैध या फर्जी। इस आदेश पर 12 सितंबर को होने वाला मतदान स्थगित हो गया है। इस निर्णय हरियाणा चुनाव आयोग की जांच रिपोर्ट ओर राज्य सरकार की कार्यप्रणाली को पहले प्रयास में जबरदस्त झटका लगा है। कोर्ट का यह आदेश ऐसे समय आया जब उपचुनाव पूरे चरम पर था। हालांकि कोर्ट ने पहली नजर में ना मार्क्स सीट को अभी पूरी तरह से सही माना है और ना हीं फर्जी। अगली सुनवाई में कोर्ट के समक्ष रखे जाने वाले दस्तावेजों से तस्वीर साफ होगी। अगर कोर्ट का निर्णय कंवर सिंह के पक्ष में जाता है जो इस मामले की जांच करने वाले अधिकारियों की कार्यप्रणाली पूरी तरह से कटघरे में खड़ी हो जाएगी जिसने मार्क्स सीट को फर्जी माना था। इससे साफ जाहिर हो जाएगा कि कंवर सिंह को जीतने के बाद राजनीति कारणों से बलि का बकरा बनाया गया था। अगर मार्क्स सीट फर्जी साबित होती है तो होने वाले उपचुनाव से आने वाले नतीजों से किसी उम्मीदवार के भाग्य का फैसला होगा। सरकार चाहे तो इस दरम्यान कंवर सिंह को अब शपथ दिला सकती है। ऐसा होने पर सीधे तौर से भाजपा को फायदा होगा। पहला चुनाव जीतने के बाद कंवर सिंह हरको बैंक चेयरमैन अरविंद यादव के मार्गदर्शन में भाजपा में शामिल हो गए थे। उस समय मुख्यमंत्री मनोहरलाल खटटर एवं भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ भी मौजूद थे। वर्तमान में भाजपा ने अपना उम्मीदवार खड़ा नहीं करके जेजेपी प्रत्याशी मान सिंह को समर्थन दिया हुआ है।