पुंछ में आतंकियों से लोहा लेते हुए शहीद हुए जवानों को सलाम..

जम्मू कश्मीरः कहीं बूढ़े मां-बाप हुए ‘बेसहारा’, तो कहीं 39 दिन के मासूम ने खोया पिता


 रणघोष खास. देशभर से 

जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में सोमवार को हुई आतंकी हमले में सुरक्षाबलों के पांच जवान शहीद हो गए। आतंकवादियों और भारतीय सेना के बीच हुई मुठभेड़ में मर मिटे पांच जवानों में एक जूनियर कमिशंन्ड ऑफिसर (जेसीओ) भी थे। बताया जा रहा है कि शोपियां जिले के तुलरान इमामसाहब इलाके में दो-तीन आतंकियों के छिपे होने की खबर सुरक्षाबलों को मिली इसके बाद यहां पर सर्च ऑपरेशन चलाया गया। पूरे इलाके को खाली करवा लिया गया है। इसी बीच ये मुठभेड़ शुरू हो गई।शहीद होने वाले पांच जवानों में गज्जन सिंह, वैसाख एच, जसविंदर सिंह, मनदीप सिंह बहादुर, सरज सिंह शामिल हैं। देशवासियों का इस घटना से खून खौल उठा है। वहीं पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने नायब सूबेदार जसविंदर सिंह, मनदीप सिंह और सिपाही गज्जन सिंह के परिवार को 50 लाख रुपये की अनुग्रह राशि और सरकारी नौकरी प्रदान करने का ऐलान किया है।

शहीद जसविंदर सिंह

इस मुठभेड़ में शहीद हुए जवान नायक सूबेदार जसविंदर सिंह, हरभजन सिंह के बेटे हैं। जसविंदर मनन तलवंडी गांव के निवासी हैं। वह अपने पीछे भरे परिवार को छोड़कर गए हैं। वे शादीशुदा थे और उनके दो बच्चे थे। जसविंदर के दो भाई हैं और उनकी पिता का निधन हो चुका है। वह एक कप्तान के तौर पर भारतीय सेना से सेवानिवृत्त हुए थे। जसविंदर के बड़े भाई राजिंदर सिंह भी पूर्व सैनिक हैं। सूत्रों के अनुसार शहीद का पार्थिव शरीर मनन तलवंडी भेजा जाएगा, जहां पूरे सम्मान के साथ पूरा गांव उनका अंतिम संस्कार कर सके।

शहीद मनदीप सिंह

शहीद हुए जवानों में मनदीप सिंह का नाम भी शामिल हैं उनकी उम्र महज 30 साल की थी। वह पंजाब के गुरदासपुर के गांव चट्ठा के रहने वाले थे। शहीद मनदीप अपने पीछे अपनी बुजुर्ग मां मनजीत कौर, पत्नी मनदीप कौर औन दो बेटों को छोड़ गए। मनदीप सिंह का बड़ा बेटा 4 साल का है और दूसरा यानी छोटा बेटा महज 39 दिनों का है। उनके निधन से पूरे परिवार को गहरा झटका लगा है।

शहीद गज्जन सिंह

पुंछ में आतंकियों के साथ चले एनकाउंटर में शहीद हुए पांच जवानों में जवान गज्जन सिंह का भी नाम शामिल है। उनकी शहादत देश हमेशा याद रखेगा क्योंकि आतंकवादियों को ढेर करने के लिए उन्होंने एनकाउंटर में मोर्चा संभाल रखा था इसी दौरान वे शहीद हो गए। रूपनगर जिले के पचरंदा गांव के गज्जन सिंह का चार महीने पहले ही विवाह हुआ था। सूत्रों के अनुसार उनके परिवार में उनकी पत्नी हरप्रीत कौर है।

शहीद सरज सिंह

पुंछ मुठभेड़ में शहीद हुए सरज सिंह यूपे के शहजहांपुर जिले के निवासी थे। पुंछ जिले के सूरनकोट इलाके में आतंकियों के छिपे होने की जानकारी मिली थी, जिसके बाद तलाशी अभियान शुरू किया गया। इस बीच जवानों पर आतंकियों ने गोलीबारी शुरू कर दी। एनकाउंटर में आतंकवादियों से लोहा लेते हुए सरज सिंह शहीद हो गए।

शहीद वैसाख एच

एनकाउंटर में शहीद हुए पांचवे जवान वैसाख एच केरल के केलम जिला निवासी थी। उन्होंने पूरी सूझबूझ से मैदान में आतंकवादियों का सामना किया।

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