डीएपी के बढ़े दामों पर सरकार की जुबान पर लगा ताला
हरियाणा सरकार अगर किसानों को लेकर थोड़ी सी भी गंभीर है तो उसे तुरंत टमाटर उत्पादक किसानों को भावान्तर योजना का लाभ देना चाहिए। यह बात वक्ताओं ने कितलाना टोल पर चल रहे किसानों के अनिश्चितकालीन धरने को संबोधित करते हुए कही। उन्होंने कहा कि गठबंधन सरकार जोरशोर से प्रचार करती रही है कि किसानों को अनाज की जगह सब्जी उगानी चाहिए उसका हश्र अब देखने को मिल रहा है। उन्होंने कहा कि थोड़े दिन पहले यही हालात आलू पैदा करने वाले किसानों के सामने थे वही आज टमाटर उगाने वाले किसानों के साथ हो रहा है। बाजार में नहीं बिकने के कारण इलाके के दर्जनों गांवों में किसान टमाटर को रोड़ पर फैंकने को मजबूर हैं। उन्होंने कहा कि सरकार को अविलंब किसानों की सुध लेनी चाहिए और उन्हें भावान्तर योजना का लाभ देना चाहिए। हैरानी की बात यह है कि चुनावों से पहले यहां टोमॅटो सॉस का प्लांट लगाने वाले सत्ताधारी किसानों का हाल तक पूछने नहीं पहुंचे हैं जबकि किसान कर्ज के बोझ के नीचे दबता जा रहा है।
कितलाना टोल पर धरने के 124वें दिन खाप सांगवान 40 के सचिव नरसिंह डीपीई, बिजेंद्र बेरला, धर्मबीर समसपुर, रणधीर कुंगड़, ओमप्रकाश दलाल, सुभाष यादव, बिमला कितलाना, निम्बो देवी ने संयुक्त रूप से अध्यक्षता की। उन्होंने कहा कि आज कपास की बुआई का समय है और सभी किसानों को डीएपी की सख्त जरूरत है। यही मजबूरी देख कंपनियों ने डीएपी के दाम एक बार में चार सौ रुपए प्रति बैग बढ़ा दिए हैं। उसके खिलाफ किसान बार बार सरकार के आगे गुहार लगा चुके हैं लेकिन लगता है कि सरकार की जुबान पर ताला लग गया है। धरने का मंच संचालन कामरेड ओमप्रकाश ने किया। इस अवसर पर कमल प्रधान, सुरजभान सांगवान, मास्टर ताराचंद चरखी, सुरेन्द्र कुब्जानगर, धर्मचन्द छपार, विधा धानक कौंट, प्रेमवती शर्मा, मुन्शीराम अजितपुर, दलसिंह नम्बरदार, रामोतार बलियाली, दीपचन्द फतेहगढ़, सत्यवान बलियाली, जागेराम डीपीई, कप्तान रामफल डोहकी, प्रेम सिंह, पोपी, सत्यवान कालुवाला, सूबेदार सत्यवीर इत्यादि मौजूद थे।