हरियाणा राजनीति की सबसे बड़ी खबर

हरियाणा के सबसे अंतिम क्षोर में बसे नांगल चौधरी विधानसभा से साधा निशाना


राव इंद्रजीत सिंह के मास्टर प्लान पर काम शुरू, तीन लोकसभा सीटों पर सीधा हमला


रणघोष खास. प्रदीप नारायण 


पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव के परिणाम आने से पहले ही हरियाणा में राजनीति हलचल ने शोर मचाना शुरू कर दिया है। शनिवार को प्रदेश के सबसे अंतिम क्षोर पर बसे नांगल चौधरी विधानसभा क्षेत्र के गांव नायन में केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह की बेटी आरती राव ने पहली बार अपने पिता की अनुपस्थिति में बड़ा जलसा किया। राव के पास समर्थकों की फौज पहले से  रही है लिहाजा पंडाल का भरा होना लाजिमी था। भाषण पढ़कर ही सही आरती राव अपने पिता की दी गई ट्रेनिंग में अब पास होती नजर आ रही है। आरती ने जो कुछ भी बोला उसके पीछे राव की सहमति से इंकार नहीं किया जा सकता। इसलिए उनके लहजे में पिता का अंदाज साफ नजर आ रहा था। आरती राव ने जो कुछ भी कहा उससे साफ जाहिर हो रहा है कि आने वाले दिनों में अब राव अपनी शर्तों से राजनीति करने का इरादा बना चुके हैं। बस सही समय का इंतजार है। आरती के भाषण ने बता दिया कि राव इंद्रजीत सिंह का दक्षिण हरियाणा को लेकर मास्टर प्लान बन चुका है। वे अब गुरुग्राम लोकसभा या दो तीन विधानसभा सीटों को लेकर भाजपा दरबार में हाजिरी लगाने वाले नहीं है। वे सीधे तौर पर भिवानी- महेंद्रगढ़-रोहतक लोकसभा सीट पर भी बराबर की दावेदारी कर कम से कम 15 से 20 विधानसभा क्षेत्रों पर जातीय समीकरण के आधार पर नए सिरे से अपना प्रभाव कायम करने का इरादा बना चुके हैं। पिछली 23 सितंबर को झज्जर जिला के यादव बाहुल्य क्षेत्र पटौदा में शहीदी दिवस पर सरकार पर सीधा हमला बोलना, पंचकूला में भाजपा के प्रदेश स्तरीय सम्मेलन में हाईकमान को नसीहत देना राव का होमवर्क था। अब आरती ने भी अपने भाषण में वहीं हमला जारी रखा। कहां किसान आंदोलन में जिन नेताओं यानि भाजपाईयों को अपने घरों में घुसने नहीं दिया जा रहा था। वे दक्षिण हरियाणा में आकर खुद को सुरक्षित महसूस कर रहे थे। इन नेताओं के लिए हमने अपने घरों के दरवाजे खोल दिए थे। उनका सीधा इरादा भाजपा को अपनी हैसियत बताना था। आरती इतना ही नहीं रूकी बोली नांगल चौधरी से निकली आवाज हरियाणा में गूंजेगी। जाहिर है उसका मैसेज कांग्रेस- जेजेपी या इनेलो के लिए नहीं अपने पार्टी के लिए है। जिस तरह कोविड-19 का असर कम होने के तुरंत बाद पिता- पुत्री अपने कार्यकर्ताओं के छोटे बड़े कार्यक्रमों में समय निकालकर पहुंच रहे हैं उससे साफ जाहिर होता है कि राव या तो भाजपा को अपने हिसाब से चलाने में कामयाब हो जाएंगे या भाजपा को जय राम जी की बोल देंगे।

इन वजहों से राव का भाजपा में नहीं लग रहा मन

जब से केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव ने गुरुग्राम में अपना स्थाई निवास बनाया है उसके बाद से राव इंद्रजीत समझ चुके थे कि भाजपा उनकी राजनीति समझ से आगे जा चुकी है। उसके बाद से राव खुद को अलग थलग महसूस करने लगे थे। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का उन्हें साथ जरूर मिल रहा है लेकिन वह सरपट सड़कों पर दौड़ने के लिए हैं राजनीति चक्रव्यूह तोड़ने के लिए नहीं। आज भी भाजपा एक बड़ा खेमा राव को घेरकर कमजोर करने में लगा हुआ है। भूपेंद्र यादव के आने से इस खेमें में गजब का उत्साह भी दिख रहा है।

यूपी चुनाव में भाजपा की वापसी नहीं हुई तो होगा बड़ा धमाका

यूपी चुनाव में अगर भाजपा वापसी नहीं कर पाती है तो इसके तुरंत बाद हरियाणा भाजपा में बड़े राजनीति धमाके हो सकते हैं। जेजेपी जिस इरादों के साथ अपनी जमीन को मजबूत करने में लग रही है वह सहयोगी के तौर पर भाजपा के मिजाज से मेल नहीं खा रहा हैं। जेजेपी कार्यक्रमों में डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला को सीएम बनाने की आवाज एकाएक पैदा नहीं हो रही है। इतना ही नहीं भाजपा के कुछ पदाधिकारियों का जेजेपी ज्वाइन कर उसका प्रचार करना भी गठबंधन के धर्म में नहीं आता। कुल मिलाकर आने वाले दिनों में भाजपा के लिए हरियाणा में डैमेज कंट्रोल करने के हालात बनते जा रहे हैं। इसका फायदा या नुकसान किसे होगा यह समय पर बनने वाले हालातों से तय होगा।