पंचतत्व में विलीन हुए बाबा सदाराम मंदिर के पुजारी स्वामी पवित्रानंद महाराज

गांव मालड़ा स्थिति बाबा सदाराम मंदिर के पुजारी स्वामी पवित्रानंद महाराज का बिमारी के चलते वीरवार को निधन हो गया।  जिसका अंतिम संस्कार गांव मालड़ा में रत्नसर जोहड़ की पाल पर हर्षोल्लास से किया गया। सामाजिक कार्यकर्ता सुजान मालड़ा ने बताया कि स्वामी पवित्रानंद महाराज वर्ष 2007 से मंदिर की देखरेख कर रहे थे। स्वामी जी पिछले चार पांच दिनों से बिमार थे और महेंद्रगढ़ के निजी अस्पताल में उपचाराधीन थे। उपचार के दौरान उन्होंने वीरवार को सुबह लगभग सवा पांच बजे अस्पताल में अंतिम सांस ली। वे 62 वर्ष के थे। शुक्रवार सुबह ग्यारह बजे उनके शव की परिक्रमा करवाने उपरांत पार्थिव शरीर को अग्नि दी गई। स्वामी जी के देहावसान से उनके अनुयायियों एवं आसपास के ग्रामीणों में शोक की लहर है। ग्रामीणों के अनुसार स्वामी पवित्रानंद महाराज जब से मंदिर में आए थे तब से गांव में सुख-शांति और समृद्धि में वृद्धि हुई है। ग्रामीणों की धार्मिक गतिविधियों में पहले से ज्यादा आस्था बन रही थी। मंदिर प्रांगण में भी उनकी प्रेरणा से अनुयायियों ने श्रद्धानुसार निर्माण कार्य करवाए। आज उनके निधन पर हर कोई शोकग्रस्त है। उनके अंतिम संस्कार में अनेक साधुओं, गणमान्य लोगों एवं क्षेत्र की महिलाओं, पुरूषों एवं बच्चों ने शामिल होकर श्रद्धांजलि दी। उपस्थित लोगों ने स्वामी जी के आकस्मिक निधन को अपूर्णीय क्षति बताया।

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