सामाजिक विकास के लिए वैज्ञानिक दृष्टिकोण आवश्यक: प्रो.आर.सी.कुहाड़

PHOTO-2020-12-11-14-59-03भारतीय लोकतंत्र के संवर्धन में विज्ञान की भूमिका विषय पर विशेषज्ञों ने रखे विचार


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हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय (हकेंवि), महेंद्रगढ़ में शुक्रवार को इंडिया इंटनरेशनल साइंस फेस्टिवल-2020 के अंतर्गत राष्ट्रीय वेबिनार का आयोजन किया गया। विश्वविद्यालय के कला एवं मानविकी पीठ के द्वाराभारतीय लोकतंत्र के संवर्धन में विज्ञान की भूमिकाविषय पर आयोजित इस वेबिनार की अध्यक्षता विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.आर.सी.कुहाड़ ने की और इस अवसर पर विशेषज्ञ वक्ता के रूप में प्रो.एस.एस चाहर, डीन एकेडमिक अफेयर्स, इंदिरा गांधी यूनिवर्सिटी, मीरपुर तथा प्रो.पवन शर्मा, राजनीति विज्ञान विभाग, चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, मेरठ उपस्थित रहे। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. आर.सी.कुहाड़ ने अपने अध्यक्षीय संबोधन में सामाजिक, राजनीति विकास में विज्ञान के योगदान और उसके महत्व पर विस्तार से प्रकाश डाला और बताया कि किस तरह से वैज्ञानिक दृष्टिकोण के माध्यम इस दिशा में उल्लेखनीय सुधारों को प्राप्त किया जा सकता है और भविष्य में भी इसका क्या महत्व है। कुलपति ने संविधान में वर्णित वैज्ञानिक दृष्टिकोण के विकास की बात का उल्लेख करते हुए कहा कि यह घर, समाज, विद्यालय, कॉलेज, विश्वविद्यालय से लेकर राज्य, देश विश्वस्तर पर आवश्यक है। विद्यार्थियों में वैज्ञानिक दृष्टिकोण विकसित करना बेहद जरूरी है और समाज को भी इसके लिए जागरूक करना होगा।

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कुलपति प्रो. आर.सी.कुहाड़ ने वैज्ञानिक सोच के विकास को महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 में विशेष रूप से इस विषय पर जोर दिया गया है और यकीनन यह वो माध्यम है जिससे सामाजिक विकास का मार्ग प्रशस्त होता है। प्रो.पवन शर्मा, राजनीति विज्ञान विभाग, चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, मेरठ ने कहा कि विज्ञान के माध्यम से लोकतांत्रिक व्यवस्था को बेहतर बनाने में मदद मिली है। फिर वो चाहे मतदाता बनने की बात हो, चुनाव प्रचार का विषय हो या फिर मतदान प्रक्रिया हो। इतना ही नहीं हम देखते हैं कि विज्ञान के योगदान के परिणामस्वरूप ही आज दिनों तक चलने वाली मतगणना की प्रक्रिया आधे से एक दिन में ही पूर्ण हो जाती है। प्रो.शर्मा ने इस अवसर पर चुनाव सुधार की प्रक्रिया में उपयोग किए जा रहे विभिन्न तकनीकी प्रयासों का भी उल्लेख विस्तार से किया फिर वो चाहे ईवीएम के प्रयोग का विषय हो या फिर एप्लीकेशन के माध्यम से चुनाव प्रक्रिया को पारदर्शी बनाने के लिए किए जा रहे प्रयास हो। हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय का परिचय कला एवं मानविकी पीठ के अधिष्ठाता प्रो.संजीव कुमार ने दिया। कार्यक्रम के अंत में धन्यवाद ज्ञापन मनोविज्ञान विभाग की सहआचार्य डॉ. पायल चंदेल ने दिया और इस अवसर पर राजनीति विज्ञान विभाग के डॉ.रमेश कुमार, डॉ. शांतेष कुमार, डॉ. राजीव कुमार श्वेता सोहल सहित विश्वविद्यालय देश के अन्य शिक्षण संस्थानों के शिक्षक, विद्यार्थी, शोद्यार्थी आदि ऑनलाइन माध्यम से आयोजन में उपस्थित रहें।

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