भारत के साथ युद्ध के चांसेस… ऑपरेशन सिंदूर में पिटने के बाद भी नहीं सुधरा PAK, कह दी बड़ी बात
भारत से ऑपरेशन सिंदूर में पिटे पाकिस्तान ने एक बार फिर से गीदड़भभकी दी है। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने कहा है कि भारत के साथ युद्ध के चांसेस वास्तविक हैं। उन्होंने कहा— “अल्लाह ऐसा न करे, लेकिन उसके चांसेस हैं। अगर लड़ाई होती है तो पहले से ज्यादा अच्छे परिणाम होंगे।”
ऑपरेशन सिंदूर में बुरी तरह भारत से मात खाने के बाद भी पाकिस्तान सुधरने का नाम नहीं ले रहा है। पाकिस्तान के डिफेंस मिनिस्टर ख्वाजा आसिफ ने दावा किया है कि भारत के साथ युद्ध के चांसेस वास्तविक हैं। समा टीवी के साथ एक इंटरव्यू में उन्होंने यह भी कहा कि भारत औरंगजेब के शासन के अलावा कभी भी एकजुट नहीं था। हालांकि, आसिफ अपने अजीबोगरीब और झूठे बयानों के लिए पहले से ही जाने जाते रहे हैं।
पिछले दिनों भारत के आर्मी चीफ जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने पाकिस्तान को चेतावनी दी थी कि अगर पाकिस्तान को विश्व के मानचित्र पर अपनी जगह बनाए रखनी है, तो उसे आतंकवाद का समर्थन बंद करना होगा। आसिफ ने कहा, “हिंदुस्तान कभी भी एक मुल्क नहीं था। एक समय था जब 540 रियासतें थीं। हमने अपना मुल्क एक नजरिए की बुनियाद पर बनाया है। हमारे में झगड़े चल रहे हैं, लेकिन अल्लाह ऐसा न करे, चांसेस उसके हैं। अगर लड़ाई होती है तो पहले से ज्यादा बेहतर परिणाम हासिल करेंगे।”
आसिफ ने इससे पहले भी भारत को धमकी देते हुए कहा था कि “इतिहास की सबसे बुरी हार के बाद भारत में जनमत सरकार के खिलाफ हो गया और पीएम मोदी ने अपनी विश्वसनीयता खो दी है। पाकिस्तान अल्लाह के नाम पर बना देश है, हमारे रक्षक अल्लाह के सिपाही हैं, इस बार भारत अपने ही विमानों के मलबे में दफन होगा।”
ऑपरेशन सिंदूर में गिड़गिड़ाया था पाकिस्तान
बड़ी-बड़ी बातें करने वाला पाकिस्तान ऑपरेशन सिंदूर के समय गिड़गिड़ाने लगा था। पहलगाम हमले के बाद शुरू हुए इस ऑपरेशन में भारत ने पाकिस्तान और पीओके में हवाई हमले कर 9 आतंकी ठिकाने तबाह कर दिए थे। इसमें 100 से ज्यादा आतंकवादी मारे गए थे। इसके बाद पाकिस्तान ने तुर्की और चीन की मदद से भारत पर हमले की कोशिश की, लेकिन भारतीय सेना ने सारे हमले नाकाम कर दिए।
भारत ने जवाबी कार्रवाई में पाकिस्तान के कई एयरबेस को निशाना बनाया और उन्हें भी ध्वस्त कर दिया। चार दिन तक चली इस लड़ाई के बाद पाकिस्तान ने भारत से युद्धविराम की गुहार लगाई थी। उस समय भारत ने साफ कहा था कि “अगर अब कोई हमला होता है तो उसे युद्ध माना जाएगा।”