बावल में डीटीपी की कार्रवाई पर हंगामा

चेयरमैन शपथ में लेने में व्यस्त, पीछे से डीटीपी ने चला दिया पीला पंजा


– डॉ. बनवारीलाल ने कहा कि पिछले कुछ दिनों से एक ड्रामा किया जा रहा है कि जो भी कार्रवाई हो उसमें किसी ना किसी बहाने से उनका नाम जोड़ दिया जाए।


 रणघोष अपडेट. बावल


बावल में गुरुवार दोपहर दो तरह की तस्वीरें नजर आईं। एक तरफ नगर पालिका चेयरमैन वीरेंद्र सिंह महलावत का शपथ ग्रहण कार्यक्रम चल रहा था। एसडीएम से लेकर नगर पार्षद व तमाम अधिकारी मौजूद थे। वहीं डीटीपी की टीम कुछ ही दूरी पर अवैध प्लाटिंग के खिलाफ कार्रवाई कर रही थी। पता चलते ही हंगामा हो गया और मौजिज लोगों ने डीटीपी की टीम को तीन घंटे से ज्यादा समय तक अपने दायरे से बाहर नहीं निकलने दिया। बावल चेयरमैन वीरेंद्र महलावत ने इसे यहां से विधायक एवं कैबिनेट मंत्री डॉ. बनवारीलाल की साजिश बताया वहीं डॉ. बनवारीलाल ने हैरानी जताते हुए कहा कि पिछले कुछ दिनों से एक ड्रामा किया जा रहा है कि जो भी कार्रवाई हो उसमें किसी ना किसी बहाने से उनका नाम जोड़ दिया जाए। डीटीपी का शपथ समारोह से क्या लेना देना। वह रूटीन में अपना काम कर रही है। सबसे बड़ी बात वह गलत कार्यो के खिलाफ एक्शन ले रही है। इसमें विवाद की स्थिति क्या सोचकर पैदा की जा रही है।

 बावल नगर पालिका के नवनिर्वाचित चेयरमैन एडवोकेट विरेंद्र महलावत को जब एसडीएम संजीव कुमार चेयरमैन को शपथ दिला रहे थे, उस समय डीटीपी वेदप्रकाश अपनी टीम के साथ जमीन की चारदिवारी को गिराने का काम कर रहे थे। इस बात की जानकारी मिलने के बाद वीरेंद्र महलावत के समर्थक मौके पर पहुंच गए और  डीटीपी व उनके स्टाफ को वहीं घेर लिया। पता चलते ही मौके पर पहुंचे विरेंद्र महलावत ने इस कार्रवाई को पूरी तरह राजनीतिक दबाव बताते  हुए डॉ. बनवारीलाल पर हमला बोला। बताया जा रहा है कि महलावत ने अपने निवास के पास अपने भाइयों के साथ मिलकर करीब 2 एकड़ जमीन खरीदी हुई है। इस जमीन पर प्लॉटिंग की गई थी। चारदिवारी का निर्माण कराया गया था। जब तक शपथ ग्रहण समारोह सपंन्न हुआ, तब तक डीटीपी की टीम अपनी कार्रवाई को अंजाम दे चुकी थी। घटना की सूचना मिलने के बाद डीएसपी राजेश लोहान और एसडीएम संजीव कुमार मौके पर पहुंचे। उन्होंने डीटीपी की टीम को छुड़वाया। इसके बाद दोनों पक्षों को बावल थाने ले जाया गया। घटना के बाद चेयरमैन विरेंद्र महलावत ने आरोप लगाया कि भाजपा नेता उनकी जीत को बर्दाश्त नहीं कर पा रहे हैं। उन्होंने कहा कि अगर निर्माण अवैध थे, तो गिराने में उन्हें कोई आपत्ति नहीं थी, परंतु इससे पहले उन्हें नोटिस दिया जाना चाहिए था। उन्होंने कहा कि वह कानून के दायरे में रहते हुए डीटीपी के खिलाफ कार्रवाई करेंगे। अगर पुलिस डीटीपी के खिलाफ केस दर्ज नहीं करेगी, तो वह कोर्ट का सहारा लेंगे। उधर डीटीपी ने बताया कि उन्होंने हाल ही में जिले का कार्यभार संभाला है। उन्हें नोटिस दिए जाने के बारे में कोई जानकारी नहीं है। कंट्रोल्ड एरिया में निर्माण तोड़ने की फाइल पहले से तैयार थी। डीसी से अनुमति मिलने के बाद वह अभियान चलाकर इस कार्रवाई को अंजाम दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि रूटीन में की गई कार्रवाई थी। इसमें किसी तरह का कोई दबाव उन पर नहीं था।

 हर बात में उनका नाम घसीटना औच्छी हरकते हैं: डॉ. बनवारीलाल

डॉ. बनवारीलाल ने कहा कि प्रशासन अपना काम करता है। इस कार्रवाई में जिस तरह से उनका नाम घसीटा जाता है यह सस्ती लोकप्रियता एवं औच्छी हरकतें हैं। डीटीपी इससे पहले भी रूटीन की तरह कार्रवाई करती आ रही है। अधिकारी कानून के दायरे में रहकर काम कर सकते हैं। उन्होंने हैरानी जताई कि पिछले कुछ दिनों से एक ड्रामा चल रहा है जो भी जिले में कार्रवाई हो रही है उसमें सोची समझी साजिश के  तहत उनके नाम का इस्तेमाल किया जाता है। इस तरह की मानसिकता ठीक नहीं है।