विप्र समाज ने सामाजिक समरसता की लिखी नई इबारत : मूलचंद शर्मा

भगवान परशुराम भवन और मंदिर की आधारशिला सर्व समाज को देगी नई दिशा 


प्रदेश के परिवहन मंत्री मूलचंद शर्मा ने गुरुग्राम में भगवान परशुराम मंदिर कि आधारशिला रखे जाने को सर्व समाज के लिए नई प्रेरणा बताया है। उन्होंने कहा कि विप्र बंधुओं ने गुरुग्राम में भगवान परशुराम  मंदिर की पहली ईंट (नींव) प्रदेश के अनुसूचित जाति एवं पिछड़ा वर्ग कल्याण मंत्री डॉक्टर बनवारी लाल से रखवाई, यह सर्व समाज को नई दिशा प्रदान करने में मील का पत्थर साबित होगा। इसके जरिए विप्र समाज ने सामाजिक समरसता की नई इबारत लिखी है। मंत्री मूलचंद शर्मा हरियाणा भाजपा के वरिष्ठ नेता जीएल शर्मा के निवास पर पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि मेरा सौभाग्य रहा कि विप्र बंधुओं ने सामाजिक समरसता का संदेश देने वाले इस विशाल कार्यक्रम में उन्हें बतौर मुख्यातिथि शिरकत करने का मौका दिया। उन्होंने कहा कि भगवान परशुराम ने सर्व समाज हिताय की प्रेरणा दी थी। उन्हें सामाजिक समरसता के जनक के तौर पर याद किया जाता है। मंदिर की आधारशिला कार्यक्रम के जरिए विप्र समाज ने उनकी सामाजिक समरसता की प्रेरणा को आगे बढ़ाया है। उन्होंने कहा कि देश की तरक्की और प्रगति के लिए समाज में सौहार्द बहुत जरूरी है। समाज किसी एक जाति या धर्म से नहीं बल्कि सभी जातियों और धर्मों को मिलकर ही बनता है। सभी को साथ लेकर चलने और सभी के हित करने की प्रेरणा भगवान परशुराम ने दी है। आज भी उनकी शिक्षाएं व्यक्ति का मार्गदर्शन करती है। उन्होंने कहा कि जीएल शर्मा पहले भी सामाजिक समरसता सम्मेलन आयोजित करते रहे हैं। इन सम्मेलनों का मकसद सर्व समाज के बीच आपसी प्यार और सौहार्द बढ़ाना ही रहा है। उन्होंने भगवान परशुराम भवन के निर्माण और मंदिर की आधारशिला रखे जाने  में अभूतपूर्व सहयोग के लिए  हरियाणा की राजनीति के पितामह व हरियाणा भाजपा के स्तम्भ पूर्व मंत्री रामबिलास शर्मा को साधुवाद दिया। उन्होंने कहा कि रामबिलास शर्मा के प्रयासों से ही इतना बड़ा कार्य इतनी जल्दी पूरा हो पाया है। प्रदेश के कैबिनेट मंत्री रणजीत सिंह चौटाला ने कहा कि ब्राह्मणा समाज हमेशा ही सर्व समाज को शिक्षा देने का काम करता है। भगवान परशुराम मंदिर की आधारशिला रखने के अवसर पर भी ब्राह्मण समाज ने सभी जातियों को नई शिक्षा देने का काम किया है। उन्होंने कहा कि भगवान परशुराम ने सर्व जन हिताय को प्राथमिकता दी। उन्होंने अपने वचन और कर्म से सर्व समाज के हित का संदेश दिया था। मुझे खुशी है कि विप्र समाज आज सच्चे अर्थों में उनकी शिक्षाओं का अनुसरण कर रहा है। सभी को इनसे प्रेरणा लेनी चाहिए।

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