वाटर टैस्टिंग मोबाइल वैन को उपायुक्त ने हरी झंडी दिखाकर किया रवाना

30 जुलाई तक गांव-गांव जाकर जल की गुणवता जांचेगी मोबाइल लैब


रणघोष अपडेट. नारनौल

जल जीवन मिशन के तहत जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग द्वारा प्रदेश भर के जिलों में मोबाइल वाटर टैस्टिंग वेन के माध्यम से गांव-गांव जाकर मौके पर ही कैमिकल जांच करवाई जा रही है। इसी कड़ी में जिला महेन्द्रगढ़ के नारनौल पहुंची मोबाइल वेन 1 जुलाई से 30 जुलाई तक जिले के विभिन्न ग्राम पंचायतों में जाकर वाटर टैस्टिंग करेगी। गुरुवार उपायुक्त अजय कुमार ने कैंप ऑफिस नारनौल से हरी झंडी दिखाकर रवाना गया। सबसे पहले उपायुक्त ने मोबाइल वेन का निरीक्षण किया व सैंपल टैस्ट करने की विधियों के बारे में भी जाना। उपायुक्त अजय कुमार ने बताया कि हमारे जीवन में पानी का विशेष महत्व है। इसलिए इसकी गुणवत्ता काफी मायने रखती है। जल जीवन मिशन व जल शक्ति अभियान के तहत यही संदेश शासन-प्रशासन द्वारा लगातार आमजन तक पहुंचाया जा रहा है। वाटर टैस्टिंग मोबाइल वेन भी इसी कार्य को पूरा करेगी। वाटर टैस्टिंग मोबाइल वेन एक आधुनिक उपकरण है। इसके द्वारा गांव में पानी की गुणवता जांचने के लिए मौके पर ही पानी की जांच की जा सकती है। ये एक चलती फिरती पानी जांच करने की लैब है। दूर-दराज के इलाकों में जो रिमोट एरिया में आते हैं वहां ये सबसे उपयोगी साबित होती है। साथ ही महामारी व आपातकाल की स्थिति पैदा होने पर ये मोबाइल लैब वेन के माध्यम से किसी भी गांव में कुछ समय तक स्टैशन लैब के रूप  में भी स्थापित किया जा सकता है।

अधीक्षक अभियंता विजेन्द्र सिंह ने बताया कि ये मोबाइल वैन जिले में 30 जुलाई तक गांव-गांव जाकर पानी की जांच करेगी। एक दिन में 7 गांव विजिट किये जायेंगे व एक गांव का एक सैंपल टैस्ट होगा। नारनौल खंड के गांव पटीकरा, भूषण खुर्द, भूषण कलां, नीरपुर, कोजिंदा, कादीपुर व नूनी अवल ग्राम पंचायतों के लिए उपायुक्त महोदय ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। वहीं आज ये मोबाइल वेन मडाणा, खानपुर, ताजीपुर, कांवी, मांदी, ढाणी बाठोठा व नांगल श्यालू गांवों का दौरा करेगी। लैब असिस्टैंड सन्नी कुमार ने बताया कि ये मोबाइन वेन कैमिकल जांच के लिए गांव गांव जाएगी। पानी के कुल 9 पैरामीटर की जांच की जाएगी। जिनमें से मुख्यतः टीडीएस, पीएच, टरबिडिटी, आयरन, हार्डनेस, फलोराइड, नाइट्रेट, सल्फेट व जिंक तत्वों की जांच की जाएगी।

जिला सलाहकार मंगतुराम सरसवा ने बताया कि इस वाटर टैस्टिंग मोबाइल वेन का मुख्य उद्देश्य आम जन को पीने के पानी की गुणवत्ता के प्रति जागरूक करना है। साथ ही जल संरक्षण का भी संदेश साथ-साथ दिया जाएगा। इसी उद्देश्य को लेकर जिला महेन्द्रगढ़ पहुंची है वे वेन। इससे पहले करनाल, कुरूक्षेत्र, कैथल, पानीपत, नूंह, पलवल, झज्जर, रेवाड़ी जिलों में पानी की टैस्टिंग की जा चुकी है।   इस मौके पर अधीक्षक अभियंता विजेन्द्र सिंह हुड्डा, कार्यकारी अभियंता सुनील कुमार रंगा, जिला सलाहकार मंगतुराम सरसवा, उपमंडल अभियंता अमित जैन, उपमंडल अभियंता मुकेश कुमार शर्मा, लैब कैमिस्ट सुधीर चौधरी, वैन कैमिस्ट चंद्र प्रकाश, नांदी सामुदायिक सुरक्षित जल परियोजना के सामुदायिक विशेषज्ञ मणिप्रकाश, बीआरसी इंद्रजीत, सक्षम युवा अंकुर, राहुल, विकास सोनी, रवि, धमेन्द्र आदि उपस्थित रहे।

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