किसे लगेगी वैक्सीन और किसे नहीं? कोरोना वैक्सीनेशन को लेकर केंद्र ने राज्यों को भेजे निर्देश

देश में कोरोना वैक्सिनेशन की पूरी तैयारियां कर ली गई हैं। 16 जनवरी से पूरे देश में कोरोना का टीकाकरण शुरू हो जाएगा। कोरोना टीकाकरण पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पूरी तरह से नजर बनाए हुए हैं। पीएम मोदी 16 जनवरी को देशव्यापी कोरोना के टीकाकरण अभियान की शुरुआत करेंगे और इसके मद्देनजर सभी राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में टीकों की पर्याप्त खुराकें भेज दी गई हैं। इस बीच केंद्र ने राज्यों को आवश्यक दिशानिर्देश भेजे हैं।

दिशानिर्देश में केंद्र ने कहा कि सिर्फ 18 वर्ष से अधिक आयु के लोगों के लिए टीकाकरण की अनुमति है। जो महिलाएं गर्भवती हैं और जिनकी गर्भावस्था तय नहीं है, और जो महिलाएं स्तनपान कराती हैं वो कोरोना का टीका न लगवाएं। इसके साथ ही केंद्र सरकार ने कहा कि यदि किसी व्यक्ति को कोरोना के लक्षण हैं तो उस व्यक्ति का टीकाकरण ठीक होने के 4-8 हफ़्ते बाद होना चाहिए।

ये हैं राज्यों को केंद्र द्वारा भेजे गए निर्देश:

1. कोविड-19 वैक्सीन सिर्फ 18 वर्ष और उससे ज्यादा उम्र वाले लोगों के लिए है।

2. वैक्सीन की जिम्मेदारी संभाल रहे लोगों को 14 दिनों के अंतराल से अलग किया जाना चाहिए।

3. दूसरी खुराक उसी वैक्सीन की होनी चाहिए जिसमें पहली डोज ली गई थी। वैक्सीन के इंटरचेंजिंग की अनुमति नहीं है।

इनके लिए है मनाही

1. ऐसी हिस्ट्री वाले व्यक्ति: – कोविड-19 वैक्सीन की पिछली खुराक के कारण ऑनफ्लेक्टिक या एलर्जी रिएक्शन  – वैक्सीन या इंजेक्टेबल थैरेपी, फार्मास्युटिकल उत्पाद, खाद्य-पदार्थ आदि से तुरंत या देरी से शुरू होने वाली एनाफिलेक्सिस या एलर्जी रिएक्शन

2. गर्भावस्था और स्तनपान: – गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाएं अब तक किसी भी कोविड-19 वैक्सीन के क्लिनिकल परीक्षण का हिस्सा नहीं रही हैं। ऐसे में, जो महिलाएं गर्भवती हैं या अपनी गर्भावस्था के बारे में सुनिश्चित नहीं हैं; और स्तनपान कराने वाली महिलाओं को इस समय वैक्सीन नहीं देनी चाहिए।

अस्थायी मनाही: इन स्थितियों में, रिकवरी के बाद 4-8 हफ्तों के लिए कोविड वैक्सीनेशन स्थगित किया जाना है..

1. SARS-CoV-2 संक्रमण के सक्रिय लक्षण वाले व्यक्ति।

2. SARS-CoV-2 के मरीज जिन्हें SARS-CoV-2 मोनोक्लोनल एंटीबॉडी या प्लाज्मा दिया गया है।

3. किसी भी बीमारी की वजह से अस्वस्थ और अस्पताल में भर्ती (गहन देखभाल के साथ या बिना) मरीज।

विशेष सावधानियां

वैक्सीन को ब्लीडिंग या कोगुलेशन डिसऑर्डर (जैसे, क्लॉटिंग फैक्टर डिफिसिएंसी, कोगुलोपैथी या प्लेटलेट डिसॉर्डर) की हिस्ट्री वाले व्यक्ति में सावधानी के साथ लगाया जाना चाहिए।

इन स्थितियों में कोरोना वैक्सीन के लिए नहीं है रोक

– SARS-CoV-2 संक्रमण (सीरो-पॉजिटिवटी) या आरटी-पीसीआर पॉजिटिव बीमारी के पिछले हिस्ट्री के लोग – पुरानी बीमारियों और मॉर्बिडिटीज (कार्डिएक, न्यूरोलॉजिकल, पल्मोनरी, मेटाबॉलिक, गुर्दे, मालिगनेंसीज) – इम्यूनो-डिफिसिएंसी, एचआईवी, किसी भी स्थिति की वजह से इम्यून-सप्रेशन के मरीज (इन व्यक्तियों में कोविड-19 वैक्सीन की प्रतिक्रिया कम हो सकती है)

ये है विचार योग्य अन्य अहम मुद्दे

– वैक्सीन से संबंधित अन्य सावधानियां जैसे-जैसे नई जानकारियां उपलब्ध होती जाएंगी लागू हो सकती हैं

-केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा फैक्टशीट दोनों वैक्सीन कोविशील्ड के साथ-साथ कोवैक्सीन के लिए भी बनाया गया है-

कोविशील्ड

– 10 डोज की शीशी – डोज: 0.5 मिली – शेड्यूल: 4 हफ्ते बाद – स्टोरेज: 2-8 डिग्री – वैक्सीन फ्रीज संवेदनशील है – जमे हुए या पिघले हुए पाए जाने पर उपयोग में न लाएं – फिजिकल अपियरेंस: थोड़ा अपारदर्शी, हल्के भूरे रंग के साथ रंगहीन – सूचीबद्ध प्रतिकूल घटनाएं: इंजेक्शन साइट टेंडरनेस, इंजेक्शन साइट पेन, सिरदर्द, थकान, बुखार, म्याल्जिया, पयरेक्सिया, ठंड लगना, मतली, डिमाइलेटिंग डिसॉर्डर के बहुत कम उदाहरण बताए गए हैं।

कोवैक्सीन

– 20 डोज की शीशी – डोज: 0.5 मिली – शेड्यूल: 4 हफ्ते बाद – स्टोरेज: 2-8 डिग्री – वैक्सीन फ्रीज संवेदनशील है – जमे हुए या पिघले हुए पाए जाने पर उपयोग न करें – फिजिकल अपियरेंस: सफेद पारदर्शी – सूचीबद्ध प्रतिकूल घटनाएं: इंजेक्शन साइट टेंडरनेस, इंजेक्शन साइट पेन, सिरदर्द, थकान, बुखार, शरीर में दर्द, पेट में दर्द, मतली, उल्टी, चक्कर आना, पसीना, ठंड, खांसी, इंजेक्शन साइट सूजन।

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