धार्मिक टिप्पणी के खिलाफ बरेली की सड़कों पर जनसैलाब, कई जिलों से पहुंचे मुस्लिम समुदाय के लोग

गाजियाबाद के महंत नरसिंहानंद सरस्वती और शिया वक्फ बोर्ड के पूर्व चेयरमैन वसीम रिजवी के खिलाफ शुक्रवार को बरेली की सड़कों पर जनसैलाब उमड़ पड़ा। जुमा नमाज के बाद मुस्लिम समुदाय के लोग विभिन्न मस्जिदों से सीधा इस्लामियां ग्राउंड को कूच करते हुए पहुंच गए। महंत के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे लगाए गए। हाथों में तख्तियां लेकर भीड़ ने महंत की गिरफ्तारी की मांग की। जमात रजा मुस्तफा की अगुवाई में पहला ऐसा प्रदर्शन हुआ, जिसमें उम्मीद से ज्यादा भीड़  जुटी है। जमात रजा मुस्तफा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष सलमान हसन खां कादरी ने कहा कि पैगंबरे इस्लाम की शान में महंत नरसिंहानंद ने गुस्ताखी की है। करोड़ों मुसलमानों की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाया है। मुसलमान सब कुछ बर्दाश्त कर सकता है लेकिन पैगंबरे इस्लाम की शान में गुस्ताखी बर्दाश्त नहीं कर सकता है। मुसलमानों ने इस प्रदर्शन से यह दिखा  दिया है कि वो खामोश नहीं है। अपने पैगंबरे इस्लाम के लिए चुप नहीं बैठेगा। बरेली में मुस्लिमों का प्रदर्शन, हजारों की भीड़ देखकर प्रशासन के हाथ-पांव फूले, स्वामी यति नरसिंहानंद और वसीम रिजवी को गिरफ्तार करने की मांग, आरोप है कि महंत ने पैगंबरे इस्लाम के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की थी ।पहले शिया वक्फ बोर्ड के पूर्व चेयरमैन वसीम रिजवी और अब महंत की वजह से देश में माहौल बिगाड़ने का काम किया जा रहा है। पैगंबरे इस्लाम की शान में गुस्ताखी करने वालों के खिलाफ काजी उल हिंद मुफ्ती असजद रजा खां कादरी की कयादत में तमाम मुसलमान जुमा नमाज के बाद इस्लामियां ग्राउंड में इक्ट्ठा हुए। तमाम लोग दरगाह आला हजरत से पैदल मार्च करते हुए इस्लामियां ग्राउंड पहुंचे। छह सूत्रीय ज्ञापन राष्ट्रपति को संबोधित एसएसपी, एडीएम को सौंपा है। इस मौके पर एसएसपी, एसपी सिटी, एडीएम, सिटी मजिस्ट्रेट, सीओ अधिकारी, पुलिस, पीएसी तैनात रही।

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